ग्वालियर । कुछ मिनट के लिए हुई झमाझम बारिश ने नगर निगम की व्यवस्थाओं की फिर पोल खोल दी। शहर में जगह-जगह पानी भर गया। उखड़ी सड़कों में वाहन फंस गए तो कई क्षेत्रों में सीवर ओवरफ्लो होकर सड़कों पर आ गया। दिनभर लोग परेशान हुए और सीवर सफाई का अमला भी चकरघिन्नाी होता रहा। देर शाम तक सीकर शकर मशीनों ने कई क्षेत्रों की चौक सीवर लाइन साफ कर दी।
बदबू से बेहाल हुए लोग
गुरुवार की रात और शुक्रवार की सुबह तेज बारिश से पानी सीवर लाइनों में पहुंच गया। शहर में बरसात के पानी के निकास का कोई साधन नहीं है। यह पानी खुले चैंबरों से सीवर की लाइन में पहुंच जाता है। जिससे वे चौक हो जाती हैं। आबादी बढ़ने के कारण शिन्दे की छावनी में सीवर लाइन अब दबाव नहीं सह पा रही है। बरसात होते ही लक्ष्मण तलैया, हनुमान घाटी क्षेत्र का तेज बहाव का पानी सीवर लाइन में समा गया। इससे मिट्टी-पत्थर भी ज्यादा थे। इसलिए लाइन चौक होते ही देशी कलारी से लेकर नौगजा रोड तक सीवर का पानी सड़क पर भर गया। दुकानदार व राहगीर बदबू से परेशान हो गए। सीवर सफाई का अमला सुबह से ही चैंबर साफ करने में लग गया। यही स्थिति अस्पताल रोड पर हुई। लाइन चौक होने से सीवर का पानी अस्पतालों के बाहर भर गया। शाम तक उसकी भी सफाई की गई। वार्ड क्रमांक 1 के सुभाष नगर में भी सीवर का पानी भर गया।
उखड़ी सड़कों में फंसे वाहन
अमृत योजना के तहत शहर में सीवर और पानी की लाइन बिछाने सड़कें तो खोद दी लेकिन रेस्टोरेशन नहीं किया। इससे पानी भरने से गड्ढे हो गए और उनमें वाहन फंस गए। विवेकानंद नीडम रोड, मोती तबेला, गेंद घर, इन्कम टैक्स ऑफिस सिटी सेंटर, माधव डिस्पेंसरी सहित अन्य स्थानों पर घुटने तक पानी भर गया।
इनका कहना है
शहर में सीवेज और बरसात के पानी की निकासी के लिए अलग-अलग लाइनें नहीं हैं। इसलिए बरसात होते ही पानी सीवर लाइनों में पहुंच जाता है जिससे वे चौक हो जाती हैं। शुक्रवार को भी यही स्थिति बनी। देर शाम तक ज्यादातर जगह लाइनें साफ कर दी गईं।
राजेन्द्र सिंह भदौरिया, प्रभारी सीवर संधारण सेल